निर्झरणी महोत्सव :तीन दिवसीय "निर्झरणी महोत्सव" 20 से MP Nirjharni Mahotsav 2021 - Daily Hindi Paper | Online GK in Hindi | Civil Services Notes in Hindi

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शनिवार, 18 दिसंबर 2021

निर्झरणी महोत्सव :तीन दिवसीय "निर्झरणी महोत्सव" 20 से MP Nirjharni Mahotsav 2021

 निर्झरणी महोत्सव 2021 

निर्झरणी महोत्सव :तीन दिवसीय "निर्झरणी महोत्सव" 20 से  MP Nirjharni Mahotsav 2021





निर्झरणी महोत्सव :तीन दिवसीय "निर्झरणी महोत्सव" 20 से


मध्यप्रदेश शासन संस्कृति विभाग द्वारा जिला प्रशासन के सहयोग और समन्वय से तीन दिवसीय निर्झरणी महोत्सवका आयोजन अलीराजपुर में 20 दिसम्बर से किया जा रहा है। आजादी के अमृत महोत्सव वर्ष में नदियों के प्रति धन्यता प्रकट करने और अमर शहीद चंद्रशेखर आजाद की स्मृति को समर्पित समारोह में 20 से 22 दिसम्बर, 2021 तक राजवाड़ा परिसर में महोत्सवका आयोजन किया जा रहा है। समारोह में जनजातीय एवं लोकनृत्य प्रस्तुतियाँ, चन्द्रशेखर आजाद पर केन्द्रित गगन दमामा बाज्योनाट्य प्रस्तुति और वनवासी लीलाएँ भक्तिमती शबरी एवं निषादराज गुह्य लीला-नाट्य प्रस्तुति दी जायेगी। साथ ही महोत्सव में वनवासी लीला नाट्य पर आधारित चित्रों की प्रदर्शनी के साथ ही अमर शहीद चंद्रशेखर आजाद के व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर एकाग्र प्रदर्शनी का संयोजन भी किया जा रहा है। समारोह का शुभारंभ 20 दिसंबर को मां नर्मदा तट ककराना में नर्मदा आरती से होगा। ककराना से नर्मदा जल कलश के साथ कलाकार राजवाड़ा पहुँचेंगे, जहाँ सायं 6.30 बजे से सांस्कृतिक प्रस्तुतियाँ प्रारंभ होंगी।


 निर्झरणी महोत्सव कार्यक्रम 

20 दिसंबर को जनजातीय भगोरिया नृत्य,  कोरकू जनजातीय गदली- थापटी नृत्य,  मालवा के लोकनृत्य,  गोंड जनजातीय ढंढार नृत्य, गुजरात के राठवा जनजातीय नृत्य के साथ ही महानायक चंद्रशेखर आजाद और भगतसिंह के स्वतंत्रता संग्राम में अवदान पर एकाग्र नाटक "गगन दमामा बाज्यो' की प्रस्तुति मण्डप सांस्कृतिक शिक्षा कला केन्द्र समिति-रीवा द्वारा दी जायेगी।

 

दूसरे दिन 21 दिसम्बर, 2021 को सायं 6.30 बजे से  भील जनजातीय नृत्य, निमाड़ के लोकनृत्य एवं वनवासी लीला नाट्य भक्तिमति शबरी की प्रस्तुति होगी।

 

तीसरे दिन 22 दिसम्बर, 2021 को सायं 6.30 बजे से भील जनजातीय नृत्य, भारिया जनजातीय भड़म नृत्य  एवं वनवासी लीला नाट्य निषादराज गुह्य की प्रस्तुति होगी।