सुशांत सिंह राजपूत की मौत मामले की जांच भले ही सीबीआई कर रही हो, इस मामले ने अब कंगना रनोट बनाम शिवसेना की शक्ल ले ली है। मामला इतना बढ़ गया है कि केंद्र सरकार ने कंगना को Y+ कैटेगरी की सुरक्षा दी है। क्या है पूरा मामला-
कंगना क्यों आईं शिवसेना के निशाने पर?
- सुशांत सिंह राजपूत केस में सीबीआई जांच की मांग हो या मुंबई पुलिस की जांच पर सवाल उठाने का मामला, कंगना इसमें सबसे आगे रही है। इस बात को लेकर महाराष्ट्र में सरकार चला रही शिवेसना उनसे नाराज चल रही थी।
- कंगना ने भाजपा नेता राम कदम के एक ट्वीट को रीट्वीट करते हुए 30 अगस्त को लिखा था कि मुझे मूवी माफिया के गुंडों के बजाय अब मुंबई पुलिस का ज्यादा डर लग रहा है। मुंबई में मुझे हिमाचल प्रदेश या केंद्र सरकार की सुरक्षा चाहिए होगी।
Thank you for your concern sir, I am actually more scared of Mumbai police now than movie mafia goons, in Mumbai I would need security either from HP government or directly from the Centre, No Mumbai police please 🙏 https://t.co/cXEcn8RrdV
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) August 30, 2020
- इस पर संजय राउत ने शिवसेना के मुखपत्र सामना में संपादकीय लिखकर जवाब दिया। उन्होंने कहा कि हम उससे अनुरोध करते हैं वह मुंबई न आएं। यह कुछ और नहीं बल्कि मुंबई पुलिस का अपमान है। गृह मंत्रालय को इस पर जरूर कार्रवाई करना चाहिए।
- इस पर जवाबी ट्वीट के तौर पर कंगना ने संजय राउत ने मुझे खुली धमकी दी है। कहा है कि मुझे मुंबई आने की जरूरत नहीं है। पहले मुंबई में आजादी ग्रैफिटी और अब खुली धमकी, मुंबई में मुझे पीओके जैसा क्यों लग रहा है?
Sanjay Raut Shiv Sena leader has given me an open threat and asked me not to come back to Mumbai, after Aazadi graffitis in Mumbai streets and now open threats, why Mumbai is feeling like Pakistan occupied Kashmir? https://t.co/5V1VQLSxh1
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) September 3, 2020
- इसके बाद तो पूरी की पूरी शिवसेना ही कंगना पर पिल पड़ी। जगह-जगह पोस्टरों पर चप्पलें बरसाई गईं। अब तो शिवसेना के सोशल मीडिया विंग ने कंगना के खिलाफ राजद्रोह का केस दर्ज करने के लिए शिकायत की है।
- इतना ही नहीं, शिवसेना के कब्जे वाली बीएमसी ने भी कंगना के मणिकर्णिका फिल्म्स के दफ्तर पर छापा मारा। एक्ट्रेस के ऑफिस पर अवैध निर्माण का नोटिस चिपकाकर 24 घंटे में जवाब मांगा है। तोड़फोड़ की खुली धमकी भी दे दी।
- कंगना नौ सितंबर को मुंबई पहुंचने वाली है। इस पर मुंबई की मेयर किशोरी पेडनेकर ने कहा कि उन्हें कोरोना गाइडलाइंस फॉलो करते हुए 14 दिन होम क्वारेंटाइन होना होगा। एयरपोर्ट पर ही उनके हाथ पर क्वारैंटाइन की मुहर लगा दी जाएगी।
किसने दी कंगना को सुरक्षा? क्या किसी को भी मिल सकती है सुरक्षा?
- कंगना इस समय अपने गृहराज्य हिमाचल में है। उसने ही राज्य सरकार से सुरक्षा देने का अनुरोध किया था। इस पर राज्य की भाजपा सरकार ने केंद्र सरकार से अनुरोध किया कि राज्य से बाहर कंगना को सुरक्षा दी जाए। इसे गृह मंत्रालय ने मंजूरी दे दी है।
देवभूमि हिमाचल की बेटी एवं बॉलीवुड अभिनेत्री कंगना रणौत की सुरक्षा के लिए हमारी सरकार प्रतिबद्ध है।
— Jairam Thakur (@jairamthakurbjp) September 7, 2020
इस संबंध में हमने डीजीपी को आगामी आदेश दे दिए हैं।
हिमाचल की हर बेटी की सुरक्षा करना हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। pic.twitter.com/9tSrJ3SKad
ये प्रमाण है की अब किसी देशभक्त आवाज़ को कोई फ़ासीवादी नहीं कुचल सकेगा,मैं @AmitShah जी की आभारी हूँ वो चाहते तो हालातों के चलते मुझे कुछ दिन बाद मुंबई जाने की सलाह देते मगर उन्होंने भारत की एक बेटी के वचनों का मान रखा, हमारे स्वाभिमान और आत्मसम्मान की लाज रखी, जय हिंद 🙏 https://t.co/VSbZMG66LT
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) September 7, 2020
- दरअसल, वीआईपी की सुरक्षा की जिम्मा सीआरपीएफ (केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल) और सीआईएसएफ (केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल) का है। किसे सुरक्षा देना है, इसका फैसला खुफिया एजेंसियों के इनपुट पर गृह मंत्रालय लेता है। अक्सर आरोप लगते हैं कि केंद्र सरकार राजनीतिक नफा-नुकसान को ध्यान में रखकर सुरक्षा के फैसले लेती है।
केंद्रीय सुरक्षा का क्या स्तर है?
केंद्र सरकार से मिलने वाली सुरक्षा छह स्तरों पर दी जाती है, यानी X, Y, Y+, Z और Z+ और एसपीजी कैटेगरी की सुरक्षा।
- SPG: ब्यूरो ऑफ पुलिस रिसर्च और डेवलपमेंट की रिपोर्ट के अनुसार एसपीजी सिर्फ प्रधानमंत्री एवं अन्य वीआईपी को सुरक्षा देती है।
- X: दो व्यक्तिगत सुरक्षा अधिकारी (पीएसओ) 24 घंटे सुरक्षा करते हैं। इसका मतलब है कि आठ-आठ घंटे की शिफ्ट में कुल छह पीएसओ तैनात होते हैं।
- Y: दो पीएसओ और एक सशस्त्र गार्ड चौबीस घंटे सुरक्षा देता है। कुल 11 सुरक्षाकर्मी होते हैं। पांच स्टेटिक ड्यूटी पर और 6 व्यक्तिगत सुरक्षा के लिए।
- Y+: इसमें भी Y कैटेगरी की सुरक्षा दी जाती है। इसमें 11 से 22 पीएसओ तैनात होंगे। अधिकारियों के मुताबिक कंगना के पीएसओ के लिए एक एस्कॉर्ट वाहन दिया जाएगा।
- Z: 22 सुरक्षाकर्मी होते हैं इसमें 2 से 8 सशस्त्र गार्ड घर पर होते हैं। दो पीएसओ चौबीस घंटे रहते हैं। सड़क यात्रा पर एक से तीन सशस्त्र जवान एस्कॉर्ट में होते हैं।
- Z+: Z कैटगरी की सुरक्षा के अलावा इस कैटेगरी में एक बुलेट प्रूफ कार, तीन शिफ्ट में एस्कॉर्ट और आवश्यकता पड़ने पर अतिरिक्त सुरक्षा मिलती है।
कितना पैसा खर्च होगा कंगना की सुरक्षा पर?
- किसी एक व्यक्ति की सुरक्षा पर कितना खर्च होगा, यह हालात पर निर्भर करता है। उदाहरण के लिए प्रधानमंत्री को सुरक्षा देने वाली एसपीजी का कुल बजट 600 करोड़ रुपए का है। यानी एक दिन का खर्च होता है 1.62 करोड़ रुपए।
- लोकसभा में एक प्रश्न के जवाब में केंद्र सरकार ने मार्च 2018 में कहा था कि 300 वीआईपी की सुरक्षा के लिए 5300 केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल के जवान तैनात हैं। इसमें अलग-अलग कैटेगरी की सुरक्षा शामिल थी। मुकेश अंबानी को 2013 में जब Z+ सुरक्षा दी गई थी तो उनसे 15 करोड़ रुपए सालाना वसूलने की बात कही गई थी।
- सीआरपीएफ की बात करें तो सालाना बजट 26 हजार करोड़ रुपए है। फोर्स के 7.5% जवान वीआईपी सुरक्षा में तैनात हैं। इसके अलावा राज्य सरकार भी वीआईपी की सुरक्षा के लिए अपने पुलिसकर्मी तैनात करती है।
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