केंद्रीय सार्वजनिक उपक्रम (एनटीपीसी), दादरी उत्सर्जन के मामले में केंद्रीय
प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड(सीपीसीबी) के दिशानिर्देशों के पालन के साथ देश का सबसे
स्वच्छ कोयला संयंत्र बनने की दिशा में अग्रसर है।
एनटीपीसी के प्रवक्ता ने बताया कि दादरी
संयंत्र बॉयलरों में कोयले के साथ-साथ बायोमास पैलेट्स की को-फायरिंग की दिशा में
भी अग्रणी रहा है। संयंत्र के बॉयलरों में 8000 से अधिक टन पैलेट्स का इस्तेमाल
किया गया है, और इस तरह लगभग 4000 एकड़ खेत के
अवशेषों को जलाने से बचाया गया है। दादरी संयंत्र ने जीरो लिक्विड डिस्चार्ज
सिस्टम और रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लागू करके पानी की खपत में भी नए मानदंड
स्थापित किए हैं।